What is angiography in Hindi? (एंजियोग्राफी क्या है?)

What is angiography in Hindi?

एंजियोग्राफी (Angiography) एक विशेष प्रकार की परीक्षण विधि है, जिसमें एक्स-रे तकनीक का इस्तेमाल करके शरीर के विभिन्न अंगों की जांच की जाती है। इस प्रक्रिया में, जिस हिस्से की जांच करनी होती है, उस हिस्से की रक्त वाहिकाओं में एक विशेष प्रकार का अपारदर्शी पदार्थ (डाई) इंजेक्ट किया जाता है, जिससे वह हिस्सा एक्स-रे में स्पष्ट रूप से दिखाई देता है।

कोरोनरी एंजियोग्राफी (Coronary Angiography): कोरोनरी एंजियोग्राफी एक ऐसी तकनीक है जिसमें दिल की रक्त वाहिकाओं की जांच के लिए एक्स-रे इमेजिंग का उपयोग किया जाता है। इसमें दिल की आर्टरीज में डाई इंजेक्ट करके देखा जाता है कि रक्त प्रवाह ठीक से हो रहा है या नहीं, और अगर कोई ब्लॉकेज हो, तो उसका भी पता चलता है। इस प्रक्रिया को एंजियोग्राम भी कहा जाता है।

(Types of Angiography):

  1. कंप्यूटेड टोमोग्राफी एंजियोग्राफी (Computed Tomography Angiography): इस विधि में सीटी स्कैनर का उपयोग करके रक्त वाहिकाओं की विस्तृत जानकारी प्राप्त की जाती है।
  2. कोरोनरी एंजियोग्राफी (Coronary Angiography): इसमें दिल की आर्टरीज का एक्स-रे किया जाता है ताकि रक्त प्रवाह में कोई अवरोध हो, तो उसका पता चल सके।
  3. डिजिटल सबट्रेक्शन एंजियोग्राफी (Digital Subtraction Angiography): यह एक फ्लोरोस्कोपी तकनीक है, जिसमें हड्डी और अन्य गैर-महत्वपूर्ण विवरणों को हटा दिया जाता है, ताकि रक्त वाहिकाओं का स्पष्ट दृश्य प्राप्त किया जा सके।
  4. मैग्नेटिक रेजोनेंस एंजियोग्राफी (Magnetic Resonance Angiography): इस विधि में रेडियो तरंगों और कंप्यूटर की मदद से शरीर की रक्त वाहिकाओं की स्कैनिंग की जाती है।
  5. पल्मोनरी एंजियोग्राम (Pulmonary Angiogram): इसमें फेफड़ों की रक्त वाहिकाओं की जांच की जाती है।
  6. रेडियोन्यूक्लाइड एंजियोग्राम (Radionuclide Angiography): इसमें न्यूक्लियर मेडिसिन का उपयोग करके ऊतकों की सही जांच की जाती है।
  7. रेनल एंजियोग्राम (Renal Angiography): यह विधि किडनी की रक्त वाहिकाओं की जांच के लिए इस्तेमाल की जाती है।

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एंजियोग्राफी के संभावित दुष्प्रभाव (Side Effects of Angiography): एंजियोग्राफी के दौरान या बाद में कुछ दुष्प्रभाव हो सकते हैं, जैसे स्ट्रोक, दिल का दौरा, धमनियों में चोट, अनियमित दिल की धड़कन, एलर्जी, किडनी को नुकसान, लगातार खून बहना, और संक्रमण।

एंजियोग्राफी की प्रक्रिया (How Angiography is Done): एंजियोग्राफी के दौरान शरीर के जिस हिस्से की जांच की जाती है, उसे एक्स-रे के माध्यम से देखा जाता है। परीक्षण में लगभग एक से दो घंटे का समय लगता है। इसके बाद मरीज को कुछ घंटों तक आराम करना पड़ता है। इस प्रक्रिया में कैथेटर ट्यूब के माध्यम से डाई को रक्त वाहिकाओं में इंजेक्ट किया जाता है, और फिर एक्स-रे द्वारा अवरोधों का पता लगाया जाता है।

एंजियोग्राफी के लिए तैयारी (How to Prepare for Angiography): एंजियोग्राफी के लिए अस्पताल पहुंचने से पहले कुछ सावधानियों का पालन करना जरूरी है। इस प्रक्रिया से पहले कुछ भी न खाएं और न पीएं। अगर कोई पुरानी बीमारी है, तो डॉक्टर से परामर्श लेना आवश्यक है। मधुमेह के मरीजों को एंजियोग्राफी से पहले इंसुलिन या अन्य दवाइयों के बारे में डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।

हार्ट की बीमारियों से बचाव (Preventing Heart Diseases): हार्ट की बीमारियों से बचने के लिए नियमित जांच और सही जीवनशैली अपनाना बहुत जरूरी है। तनाव, चिंता, और गुस्से को नियंत्रित रखना चाहिए। कोलेस्ट्रॉल, ब्लड प्रेशर, और डायबिटीज को नियंत्रित रखें। धूम्रपान, फास्टफूड, और भारी वजन उठाने से बचें।

निष्कर्ष (Conclusion): स्वस्थ जीवनशैली अपनाकर आर्टरी और वींस में ब्लॉकेज से बचा जा सकता है। हाल के समय में, यहां तक कि स्वस्थ जीवनशैली जीने वाले लोगों में भी ब्लॉकेज की समस्या देखी गई है, जो हार्ट अटैक का कारण बन सकती है। इसलिए नियमित रूप से एक्सरसाइज करें और सही खानपान का पालन करें। हार्ट की बीमारियों से बचने के लिए समय पर एंजियोग्राफी कराना आवश्यक है।

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